शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद का अखिलेश यादव पर तीखा वार,
'PDA के जरिए हिंदू समाज को तोड़ने की कोशिश'
1 months ago
Written By: NEWS DESK
उत्तर प्रदेश के इटावा में कथावाचकों के साथ हुई घटना को लेकर छिड़ी राजनीतिक बहस के बीच अब ज्योतिष्पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती भी खुलकर सामने आ गए हैं। उन्होंने समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव और उनके PDA (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) फॉर्मूले पर तीखा हमला करते हुए कहा कि देश के कुछ नेता "बांटो और राज करो" की नीति पर काम कर रहे हैं, और यही मानसिकता इटावा जैसी घटनाओं के लिए जिम्मेदार है।
समाज बांटने का चल रहा खेल
शंकराचार्य ने साफ कहा कि, देश में राजनेताओं द्वारा समाज को बांटने का जो खेल खेला जा रहा है, वह केवल सत्ता के लालच में किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि “आप PDA के जरिए हिंदू समाज को तोड़ने के लिए खड़े हो गए हैं, लेकिन हम सनातनी हैं और सनातन धर्म के साथ अडिग हैं।” उन्होंने आगे कहा कि हजार वर्षों की गुलामी के बाद भी सनातन धर्म को कोई मिटा नहीं सका और ना ही उसके अनुयायी कभी डगमगाए।
नहीं टिकेगा अखिलेश का स्वप्न
शंकराचार्य ने सपा प्रमुख पर कटाक्ष करते हुए कहा है कि, "अखिलेश जी, आप जिस तरह का स्वप्न देख रहे हैं, वह अधिक दिन टिकेगा नहीं। आप कुछ जातियों और वर्गों को अलग करके PDA समीकरण बना रहे हैं, लेकिन यह भी जल्द ही टूट जाएगा।" उन्होंने जोर देते हुए कहा है कि, राजनीतिक समीकरण कुछ भी हों, लेकिन सनातन का मूल समीकरण ब्राह्मण, क्षत्रिय, वैश्य और शूद्र ही है, जिसे वेदों ने स्थापित किया है और वह BKVS के नाम से जाना जाता है।
हिंदी विवाद पर भी कसा तंज
इतना ही नहीं, उन्होंने महाराष्ट्र में हिंदी भाषा को लेकर चल रहे विवाद पर भी तीखा तंज कसा। उन्होंने कहा, "क्या महाराष्ट्र का व्यक्ति कुएं का मेंढक ही बना रहेगा? हिंदी हमारे माथे की बिंदी है, इससे क्यों दिक्कत है? हिंदी मराठी को दबाती नहीं, और मराठी पूरे देश की भाषा हो भी नहीं सकती।" शंकराचार्य ने अपने संबोधन में यह भी स्पष्ट किया कि उनका उद्देश्य राजनीति करना नहीं है, लेकिन जब सनातन और समाज को तोड़ने की कोशिश हो रही हो तो चुप रहना भी अधर्म होगा।