कांवड़ यात्रा पर नेताओं की बयानबाज़ी से गरमाई सियासत,
एसटी हसन ने आतंकवादियों से की तुलना
10 days ago
Written By: NEWS DESK
श्रावण मास की शुरुआत के साथ ही देशभर में कांवड़ यात्रा ने रफ्तार पकड़ ली है। लाखों श्रद्धालु गंगा जल से कांवड़ भरकर भोलेनाथ का जलाभिषेक करने शिवालयों की ओर बढ़ रहे हैं। लेकिन इस पवित्र यात्रा के साथ अब सियासी बयानबाज़ी का दौर भी तेज हो गया है। समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के कुछ नेताओं के बयानों ने न सिर्फ धार्मिक माहौल को प्रभावित किया है, बल्कि सियासी पारे को भी चढ़ा दिया है।
एसटी हसन ने आतंकवादियों से की तुलना
सपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व सांसद एसटी हसन ने एक बेहद विवादास्पद बयान देकर नई बहस को जन्म दे दिया है। उन्होंने कांवड़ियों की तुलना आतंकवादियों से करते हुए कहा, “क्या इनमें और उन आतंकवादियों में कोई फर्क है जिन्होंने धर्म पूछकर पहलगाम में गोलियां मारी थीं? ये भी एक तरह के आतंकवादी हैं… जो देश में शांति नहीं चाहते और हिंदू-मुसलमान करके देश को बांटना चाहते हैं।” उनके इस बयान की चौतरफा आलोचना हो रही है, खासकर धार्मिक संगठनों और भाजपा नेताओं की ओर से।
राजीव राय: बेरोजगारी की वजह से बढ़ रही कांवड़ियों की संख्या
वहीं सपा के एक और नेता और राज्यसभा सांसद राजीव राय ने भी कांवड़ यात्रा को लेकर टिप्पणी की है कि “बेरोजगारी के कारण बड़ी संख्या में युवा इस धार्मिक यात्रा में हिस्सा ले रहे हैं। कांवड़ियों के पास काम नहीं है, इसलिए इनके पास बहुत समय है।” उनकी यह टिप्पणी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रही है और लोगों ने इसे आस्था का अपमान बताया है।
कांग्रेस नेता दानिश अली ने लगाया दोहरे मापदंड का आरोप
वहीं कांग्रेस सांसद कुंवर दानिश अली ने भाजपा सरकार पर तुष्टिकरण का आरोप लगाते हुए कहा, “एक समुदाय के सड़क पर इबादत करने पर मुकदमा होता है और दूसरी ओर नेशनल हाईवे बंद कर कांवड़ यात्रा कराई जाती है। भाजपा सरकार बहुसंख्यक तुष्टिकरण में लगी है।”