जियो–हॉटस्टार ने ICC को दिया बड़ा झटका… 27,000 करोड़ की डील पर संकट,
जानें मामला
7 days ago Written By: Ashwani Tiwari
इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) के सामने 2026 में भारत में होने वाले ICC पुरुष T20 वर्ल्ड कप से पहले बड़ा संकट खड़ा हो गया है। रिलायंस इंडस्ट्रीज के JioStar ने ICC को औपचारिक रूप से बता दिया है कि वह वित्तीय घाटे के कारण भारत मीडिया राइट्स की अपनी चार साल की डील के बचे हुए दो साल पूरे नहीं कर पाएगा। ऐसी स्थिति में ICC को नए प्रसारण साझेदार की तलाश करनी पड़ रही है। यह मामला इसलिए भी गंभीर है क्योंकि भारत ICC के कुल रेवेन्यू का लगभग 80% हिस्सा देता है। ऐसे में मीडिया राइट्स का संकट अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के लिए बड़ी चुनौती बन गया है।
JioStar का पीछे हटना और ICC की नई राइट्स बिक्री प्रक्रिया JioStar ने भारी नुकसान का हवाला देते हुए 2027 तक चलने वाली मीडिया राइट्स डील से हटने के संकेत दिए हैं। इसके बाद ICC ने 2026-29 के लिए भारत में मीडिया राइट्स की नई बिक्री प्रक्रिया शुरू कर दी है और लगभग 2.4 बिलियन डॉलर की मांग कर रहा है। 2024–27 साइकिल के लिए राइट्स की कीमत लगभग 3 बिलियन डॉलर थी। JioStar के हटने की संभावना के बाद ICC ने Sony Pictures Network (SPNI), Netflix और Amazon Prime Video से संपर्क किया है, लेकिन कीमत बहुत ज्यादा होने की वजह से किसी ने ठोस रुचि नहीं दिखाई है। अभी तक किसी भी प्लेटफॉर्म या ICC की ओर से आधिकारिक बयान नहीं आया है।
JioStar को क्यों हो रहा है भारी घाटा JioStar ने 2024–25 में खेल अनुबंधों से होने वाले अनुमानित नुकसान के लिए अपनी प्रावधान राशि बढ़ाकर 25,760 करोड़ रुपए कर दी, जो पिछले वर्ष 12,319 करोड़ रुपए थी। मर्जर से पहले स्टार इंडिया का शुद्ध घाटा भी 12,548 करोड़ रुपए था, जो ICC मीडिया राइट्स से जुड़े भारी खर्च का परिणाम था। वहीं ICC ने 2024 में 474 मिलियन डॉलर का सरप्लस दर्ज किया, जो दिखाता है कि क्रिकेट की इकोनॉमी मजबूत है, लेकिन प्रसारणकर्ताओं को बड़ा नुकसान झेलना पड़ रहा है।
भारत में महंगे राइट्स और घटता विज्ञापन बाजार उद्योग विशेषज्ञों के अनुसार, ICC की कीमत SPNI जैसे दिग्गज प्रसारकों के लिए भी बहुत अधिक है। क्रिकेट के विज्ञापन बाजार पर भारी असर पड़ा है, खासकर जब रियल-मनी गेमिंग पर प्रतिबंध लगाया गया। Dream11 और My11Circle जैसे ब्रांडों के हटने से लगभग 840 मिलियन डॉलर (7000 करोड़ रुपए) का विज्ञापन गैप पैदा हो गया है। लाइव स्पोर्ट्स की बढ़ती लागत और घटती टीवी प्रॉफिटिबिलिटी ने प्रसारणकर्ताओं की परेशानी और बढ़ा दी है।
ICC के सामने सीमित विकल्प भारत के खेल प्रसारण बाजार में JioStar–SPNI की स्थिति सबसे मजबूत है, जिससे ICC के पास विकल्प कम रह गए हैं। भले ही ICC नए प्रसारक न ढूंढ़ पाए, लेकिन अनुबंध के अनुसार JioStar 2027 तक डील पूरी करने के लिए बाध्य रहेगा। यह पूरा मामला दिखाता है कि भारत में खेल मीडिया राइट्स की कीमतें बढ़ने और विज्ञापन कम होने से बाजार कितना दबाव में है।