सेमीकॉन इंडिया में लॉन्च हुई पहली 'मेड इन इंडिया' चिप विक्रम,
भारत ने रचा इतिहास
8 days ago
Written By: आदित्य कुमार वर्मा
भारत ने सेमीकंडक्टर तकनीक के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल करते हुए अपनी पहली स्वदेशी 32-बिट माइक्रोप्रोसेसर चिप 'विक्रम' को लॉन्च कर दिया है। इस महत्वपूर्ण अवसर पर सेमीकॉन इंडिया 2025 सम्मेलन में केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इस चिप का शुभारंभ किया। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी मौजूद रहे। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इस उपलब्धि को भारत के लिए गर्व का क्षण बताया और कहा कि यह सफलता प्रधानमंत्री मोदी की दूरदर्शी सोच, दृढ़ इच्छाशक्ति और निर्णायक कार्रवाई के कारण संभव हो पाई है।
अंतरिक्ष और रक्षा क्षेत्र के लिए बनेगी वरदान
'विक्रम' भारत का पहला पूर्णतः स्वदेशी 32-बिट माइक्रोप्रोसेसर है, जिसे इसरो के सेमीकंडक्टर लैब द्वारा विकसित किया गया है। इसकी सबसे खास बात यह है कि यह प्रोसेसर लॉन्च व्हीकल्स की कठोर पर्यावरणीय परिस्थितियों में भी बिना किसी रुकावट के काम करने में सक्षम है। केंद्रीय मंत्री ने प्रधानमंत्री मोदी को 'विक्रम' प्रोसेसर के साथ-साथ चार स्वीकृत सेमीकंडक्टर परियोजनाओं के टेस्ट चिप्स भी प्रस्तुत किए। यह तकनीक विशेष रूप से अंतरिक्ष और रक्षा क्षेत्र के लिए अत्यधिक उपयोगी साबित होगी।
साणंद में बना 'विक्रम' प्रोसेसर
'विक्रम' चिप का निर्माण गुजरात के साणंद स्थित सीजी सेमी (CG SEMI) की पायलट लाइन में किया गया है, जिसका उद्घाटन 28 अगस्त को स्वयं अश्विनी वैष्णव ने किया था। उन्होंने बताया कि देश में पांच सेमीकंडक्टर यूनिट्स का निर्माण तेजी से हो रहा है, जिनमें से एक की पायलट लाइन पूरी हो चुकी है और दो अन्य जल्द ही उत्पादन शुरू करने वाली हैं। अश्विनी वैष्णव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की नीतियों के चलते भारत का सेमीकंडक्टर मिशन तेजी से आगे बढ़ रहा है। मात्र साढ़े तीन वर्षों में वैश्विक स्तर पर भारत की विश्वसनीयता बढ़ी है और निवेशकों का भरोसा मजबूत हुआ है।
वैश्विक निवेशकों का आकर्षण बना भारत
इस अवसर पर केंद्रीय मंत्री ने वैश्विक निवेशकों को संबोधित करते हुए भारत की स्थिर नीतियों और बढ़ती घरेलू मांग को निवेश के लिए आदर्श बताया। पिछले दशक में भारत में इलेक्ट्रॉनिक्स उत्पादन छह गुना और निर्यात आठ गुना बढ़ चुका है। 'विक्रम' प्रोसेसर को भारत की सेमीकंडक्टर आत्मनिर्भरता की दिशा में एक महत्वपूर्ण शुरुआत बताया जा रहा है। Bastion Research की रिपोर्ट के अनुसार, दुनिया के लगभग 20% चिप डिज़ाइन इंजीनियर भारत में कार्यरत हैं, जिससे भारत वैश्विक सेमीकंडक्टर डिज़ाइन का केंद्र बन चुका है।
भारत की ओर आकर्षित हो रहीं वैश्विक कंपनियां
क्वालकॉम, इंटेल, एनवीडिया, ब्रॉडकॉम और मीडियाटेक जैसी दुनिया की शीर्ष सेमीकंडक्टर कंपनियां पहले से ही भारत में अपना दायरा बढ़ा चुकी हैं। इन कंपनियों ने बेंगलुरु, हैदराबाद और नोएडा में बड़े रिसर्च एंड डिवेलपमेंट और डिज़ाइन केंद्र स्थापित किए हैं। भारत सरकार ने 2021 में सेमीकॉन इंडिया प्रोग्राम के तहत ₹76,000 करोड़ की प्रोत्साहन योजना की घोषणा की थी, जिसका उद्देश्य वैश्विक सेमीकंडक्टर निर्माण कंपनियों को भारत में निवेश के लिए आकर्षित करना है।