चीन के तियानजिन एससीओ सम्मेलन में पाकिस्तान की किरकिरी,
शहबाज के सामने पहलगाम हमले की निंदा
9 days ago
Written By: आदित्य कुमार वर्मा
चीन के तियानजिन में आयोजित शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) सम्मेलन में पाकिस्तान को गहरी शर्मिंदगी का सामना करना पड़ा। इस समिट में शामिल सभी सदस्य देशों ने इस साल 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले की कड़ी निंदा की और आतंकवाद के मुद्दे पर भारत का साथ दिया। पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ भी इस समिट में मौजूद थे, लेकिन उनके सामने ही सम्मेलन के घोषणा पत्र में पहलगाम आतंकी हमले का उल्लेख किया गया, जिससे पाकिस्तान की स्थिति असहज हो गई।
आतंकवाद के खिलाफ कड़ी निंदा
तियानजिन घोषणा पत्र में स्पष्ट रूप से कहा गया कि सभी सदस्य देश आतंकवाद, अलगाववाद और उग्रवाद के खिलाफ अपनी प्रतिबद्धता को दोहराते हैं। इसमें यह भी स्पष्ट कर दिया गया कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में किसी भी तरह के दोहरे मानदंड स्वीकार्य नहीं होंगे। सदस्य देशों ने पहलगाम आतंकी हमले की सख्त निंदा करते हुए दोषियों को न्याय के कटघरे में लाने की मांग की। इस रुख से यह साफ हो गया कि एससीओ के मंच पर आतंकवाद के मुद्दे पर अब कोई समझौता नहीं होगा।
आतंकवाद पर पीएम मोदी का सख्त रुख
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एससीओ समिट के दौरान आतंकवाद को क्षेत्रीय सुरक्षा के लिए सबसे बड़ा खतरा बताया। पहलगाम आतंकी हमले का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि भारत लंबे समय से आतंकवाद का दंश झेल रहा है और इस हमले को उन्होंने मानवता पर हमला करार दिया। शंघाई सहयोग परिषद की बैठक को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, “आतंकवाद और अलगाववाद बड़ी चुनौतियां हैं। कोई भी देश, कोई भी समाज खुद को इससे सुरक्षित नहीं मान सकता। इसलिए आतंकवाद से लड़ाई में भारत ने हमेशा एकजुटता पर जोर दिया है और इस दिशा में एससीओ की भूमिका बेहद अहम रही है।”
पीएम मोदी और पुतिन की खास मुलाकात
एससीओ समिट के दौरान प्रधानमंत्री मोदी की रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से विशेष मुलाकात भी चर्चा का विषय रही। बैठक के बाद दोनों नेताओं को एक ही कार से साथ रवाना होते हुए देखा गया, जिसकी तस्वीरें सोशल मीडिया पर सामने आईं। मौजूदा समय में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ चल रही भू-राजनीतिक तनातनी के बीच पीएम मोदी का चीन दौरा और पुतिन के साथ उनकी यह बैठक रणनीतिक रूप से काफी अहम मानी जा रही है।
भारत की पहल को एससीओ से मिली मान्यता
एससीओ समिट में भारत की पहल को व्यापक समर्थन मिला। घोषणा पत्र में भारत की ‘एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य’ की थीम को औपचारिक रूप से समर्थन दिया गया। इसके अलावा, सदस्य देशों ने 3 से 5 अप्रैल 2025 को नई दिल्ली में आयोजित 5वें एससीओ स्टार्टअप फोरम के सफल परिणामों का स्वागत भी किया। यह भारत के लिए एक बड़ी कूटनीतिक उपलब्धि है, जो दर्शाती है कि एससीओ मंच पर भारत की भूमिका लगातार मजबूत होती जा रही है।