MP में आवारा कुत्तों ने 13 साल की बच्ची को नोंच-नोंचकर मार डाला,
देश में डॉग बाइट के बढ़ते खतरे पर उठे सवाल
3 days ago
Written By: आदित्य कुमार वर्मा
मध्य प्रदेश के सिवनी जिले में शनिवार को एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जिसने पूरे इलाके को दहशत और मातम में डुबो दिया है। यहां कान्हीवाड़ा थाना क्षेत्र के समनापुर गांव में 13 वर्षीय मासूम अवनी को आवारा कुत्तों के झुंड ने नोंच-नोंचकर मार डाला। इस घटना के बाद से गांव में दहशत का माहौल है, वहीं ग्रामीणों में प्रशासन के खिलाफ आक्रोश भी पनप रहा है।
खेत घूमने गई बच्ची पर कुत्तों ने किया हमला
शनिवार दोपहर अवनी अपनी सहेली के साथ गांव के बाहर खेतों की तरफ गई थी। इसी दौरान अचानक आवारा कुत्तों के झुंड ने दोनों बच्चियों पर हमला कर दिया। सहेली किसी तरह जान बचाकर भागी और गांव पहुंचकर परिजनों को घटना की जानकारी दी। जब तक ग्रामीण और अवनी के माता-पिता मौके पर पहुंचे, तब तक कुत्तों ने मासूम को बुरी तरह नोच डाला था। अवनी ने घटनास्थल पर ही दम तोड़ दिया। ग्रामीणों के मुताबिक, यह घटना इतनी भयावह थी कि मौके पर पहुंचने वाले लोग सदमे में आ गए। हमले के बाद बच्ची का शव देखकर पूरा गांव सन्न रह गया।
गांव में मातम, परिजनों पर टूटा दुखों का पहाड़
अवनी के माता-पिता का रो-रोकर बुरा हाल है। जिस बेटी को उन्होंने हंसते-खेलते खेत की ओर जाते देखा था, उसका निर्जीव शरीर वापस घर आया। पूरे गांव में मातम पसर गया है। ग्रामीणों का कहना है कि यह कोई पहली घटना नहीं है, बल्कि लंबे समय से इलाके में आवारा कुत्तों का आतंक जारी है। ग्रामीणों का आरोप है कि कई बार पंचायत, नगर पालिका और प्रशासन से शिकायत की गई, लेकिन आवारा कुत्तों पर नियंत्रण के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए।
पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया शव
घटना की जानकारी मिलते ही कान्हीवाड़ा थाना प्रभारी संतोष पांडे अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। पुलिस ने बच्ची के शव को कब्जे में लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र भेज दिया, जहां पोस्टमार्टम की प्रक्रिया की जा रही है। वहीं थाना प्रभारी संतोष पांडे का कहना है कि मामले की जांच शुरू कर दी गई है और इस संबंध में प्रशासन को भी सूचित किया गया है।
भारत में डॉग बाइट के बढ़ते मामले बने चिंता का विषय
यह घटना कोई अकेली नहीं है। भारत में डॉग बाइट और आवारा कुत्तों के हमले की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं। नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल (NCDC) की रिपोर्ट बताती है कि देश में हर साल लगभग 17 से 20 लाख लोग डॉग बाइट का शिकार बनते हैं। इनमें सबसे ज्यादा प्रभावित बच्चे होते हैं, क्योंकि वे कुत्तों के आसान निशाने बन जाते हैं। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, भारत में हर साल 18 से 20 हजार लोगों की मौत रेबीज की वजह से होती है और इन मामलों में अधिकांश मौतें आवारा कुत्तों के काटने से जुड़ी होती हैं। यह आंकड़े प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग की तत्काल कार्रवाई की जरूरत को दर्शाते हैं।
ग्रामीणों का आक्रोश, प्रशासन पर उठे सवाल
समनापुर गांव के लोगों का कहना है कि इलाके में लंबे समय से आवारा कुत्तों का आतंक जारी है। कई बार शिकायतें करने के बावजूद नगर निकाय और स्थानीय प्रशासन की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द ही कुत्तों के आतंक पर लगाम नहीं लगाई गई तो वे सामूहिक रूप से आंदोलन करेंगे। लोगों का कहना है कि प्रशासन को केवल हादसों के बाद हरकत में आना बंद करना होगा और आवारा कुत्तों की बढ़ती संख्या पर नियंत्रण के लिए स्थायी समाधान निकालना होगा।