घर में इस तरह से रखें मोर पंख,
बनी रहेगी खुशहाली
1 months ago
Written By: anjali
भाद्रपद माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था। इस वर्ष श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का पावन पर्व 15 अगस्त को मनाया जाएगा, जबकि वृंदावन में यह उत्सव 16 अगस्त को धूमधाम से मनाया जाएगा। भगवान श्रीकृष्ण, जो प्रभु श्रीहरि के आठवें अवतार हैं, का संबंध मोर पंख से विशेष रूप से माना जाता है। वास्तु शास्त्र में भी मोर पंख को बेहद शुभ माना गया है और इसे घर या कार्यस्थल में रखने से सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
मोर पंख रखने के लाभ
वास्तु शास्त्र के अनुसार, मोर पंख घर से नकारात्मक ऊर्जा को दूर करता है और वातावरण में सकारात्मकता लाता है। जन्माष्टमी के दिन मोर पंख को लड्डू गोपाल के पास या पूजा स्थल पर रखने से सुख-समृद्धि का आगमन होता है। इसके अलावा, श्रीकृष्ण के शृंगार और सजावट में मोर पंख का उपयोग भी अत्यंत शुभ माना जाता है।
सकारात्मक ऊर्जा बनाए रखने के लिए
मोर पंख को पूजा घर के अलावा लिविंग रूम और बेडरूम में भी रखा जा सकता है। वास्तु विशेषज्ञों के अनुसार, बेडरूम की पूर्व या दक्षिण-पूर्व दिशा में मोर पंख रखना सबसे उत्तम होता है, जिससे घर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह निरंतर बना रहता है।
कार्यक्षेत्र में मोर पंख का महत्व
यदि आप अपने ऑफिस या कार्यक्षेत्र में आर्थिक स्थिरता चाहते हैं, तो दक्षिण-पूर्व दिशा में मोर पंख रखें। यह आर्थिक समस्याओं को कम करने में सहायक होता है। वहीं बच्चों के स्टडी रूम या स्टडी टेबल के पास मोर पंख रखने से उनकी एकाग्रता और पढ़ाई में रुचि बढ़ती है।
घर के मुख्य द्वार और वास्तु दोष निवारण
घर के मुख्य द्वार पर मोर पंख लगाना शुभ माना जाता है। यदि घर में वास्तु दोष की समस्या है, तो ईशान कोण (उत्तर-पूर्व दिशा) में भगवान श्रीकृष्ण की मूर्ति या तस्वीर के साथ मोर पंख रखें। यह उपाय वास्तु दोष को दूर करने में सहायक होता है। जन्माष्टमी के अवसर पर मोर पंख का उपयोग न केवल धार्मिक दृष्टि से बल्कि वास्तु शास्त्र के अनुसार भी अत्यंत लाभकारी है। सही दिशा और स्थान पर मोर पंख रखने से घर में सुख-शांति, समृद्धि और सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।